महात्मा गांधी पर निबंध - Essay on Mahatma Gandhi in Hindi
Essay on Mahatma Gandhi in Hindi | महात्मा गांधी पर निबंध - महात्मा गांधी, जिनका असली नाम मोहनदास करमचंद गांधी था, को "राष्ट्रपिता" कहा जाता है। उन्हें अपनी जिंदगी सत्य और अहिंसा के पथ पर चलकर देश को आजादी दिलानी चाहिए।
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| Essay on Mahatma Gandhi in Hindi |
महात्मा
गांधी पर 10 पंक्तियाँ - 10 Lines on Mahatma Gandhi in Hindi
1. महात्मा
गांधी का जन्म 2 अक्टूबर
1869 को पोरबंदर, गुजरात में हुआ था।
2. उनकी
मां पुतलीबाई धार्मिक थीं और उनके
पिता करमचंद गांधी एक दीवान थे।
3. गांधी
जी इंग्लैंड गए कानून की
पढ़ाई करने और बैरिस्टर
बन गए।
4. दक्षिण
अफ्रीका में उन्हें नस्लीय
भेदभाव का सामना करना
पड़ा, जिसने उन्हें सत्याग्रह का विचार दिया।
5. वो
सत्य और अहिंसा के
प्रबल आस्तिक हैं।
6. चंपारण,
खेड़ा, असहयोग, सविनय अवज्ञा और भारत छोड़ो
जैसे आंदोलनों का नेतृत्व किया।
7. गांधी
जी ने दांडी मार्च
करके ब्रिटिश नमक कानून का
विरोध किया।
8. उनका
नारा "करो या मरो"
भारत छोड़ो आंदोलन का सबसे बड़ा
प्रेरणा स्रोत बना।
9. 30 जनवरी
1948 को नाथूराम गोडसे ने उनकी हत्या
कर दी।
10. गांधी
जी हमेशा शांति, सादगी और मानवता के
प्रतीक के रूप में
याद किये जाते हैं।
महात्मा
गांधी पर पैराग्राफ (250 शब्द) - Paragraph on Mahatma Gandhi in Hindi
महात्मा
गांधी - राष्ट्रपिता
महात्मा
गांधी, जिनका असली नाम मोहनदास
करमचंद गांधी था, भारत के
सबसे बड़े स्वतंत्रता सेनानियों
में से एक थे।
उनका जन्म 2 अक्टूबर 1869 को पोरबंदर, गुजरात
में हुआ। गांधी जी
बचपन से ही सरल
और ईमानदार थे। इंग्लैंड में
कानून की पढ़ाई की
और दक्षिण अफ्रीका में वकील के
रूप में काम करते
वक्त नस्लीय भेदभाव का सामना करना
पड़ा। एक घटना जब
उन्हें सिर्फ इंडियन होने की वजह
से ट्रेन के डिब्बे से
बाहर फेंक दिया गया,
उनकी जिंदगी का टर्निंग प्वाइंट
बन गया। वहीं से
सत्य और अहिंसा के
सिद्धांतों पर आधारित "सत्याग्रह"
का मार्ग अपनाएं।
1915 में
भारत लौटने के बाद गांधी
जी देश की आजादी
की लड़ाई में सक्रिय रूप
से शामिल हुए। अनहोन किसान
और गरीब लोगों के
लिए आंदोलन चलाएंगे जैसे चंपारण और
खेड़ा सत्याग्रह। 1920 में असहयोग आंदोलन
शुरू किया गया, 1930 में
दांडी मार्च करके सविनय अवज्ञा
आंदोलन शुरू किया गया
और 1942 में भारत छोड़ो
आंदोलन का नेतृत्व किया
गया। सभी आन्दोलनों ने
ब्रिटिश शासन को हिला
कर रख दिया। गांधी
जी का मानना था
कि आजादी सिर्फ राजनीतिक आजादी नहीं बल्कि आत्म-अनुशासन और आत्मनिर्भरता भी
है।
गांधी
जी का जीवन बहुत
सरल था। वो खादी
के कपड़े पहनते हैं, स्वदेशी वस्त्रों
को बढ़ावा देते हैं और
अपना जीवन सत्य, अहिंसा
और सादगी के साथ बिताते
हैं। 30 जनवरी 1948 को नाथूराम गोडसे
ने उनकी हत्या कर
दी, जो देश के
लिए एक बहुत बड़ा
नुकसान था। फिर भी
उनके विचार और शिक्षाएँ आज
भी दुनिया को प्रेरित करते
हैं। गांधी जी को पूरे
विश्व में शांति, अहिंसा
और मानवता के प्रतीक के
रूप में देखा जाता
है। इसी वजह से
उन्हें हमेशा "राष्ट्रपिता" कहा जाता है।
महात्मा
गांधी पर निबंध (500 शब्द) - Essay on Mahatma Gandhi in Hindi
परिचय
महात्मा गांधी, जिनको "राष्ट्रपिता" या "राष्ट्रपिता" कहा जाता है, भारत के सबसे महान स्वतंत्रता सेनानियों में से एक थे। उनका असली नाम मोहनदास करमचंद गांधी था, लेकिन दुनिया उन्हें "महात्मा" के साथ सम्मान बुलाती है। गांधी जी ने अपनी पूरी जिंदगी सच, अहिंसा और सादगी को फॉलो करते हुए देश को आजादी दिलाने की कोशिश की। उनके विचार और शिक्षाएं सिर्फ भारत ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया को प्रेरित करती हैं।
महात्मा गांधी का प्रारंभिक जीवन
गांधी
जी का जन्म 2 अक्टूबर
1869 को पोरबंदर, गुजरात में हुआ था।
उनके पिता करमचंद गांधी
एक दीवान थे और माता
पुतलीबाई बहुत धार्मिक और
सरल स्वभाव की महिला थीं।
बचपन से ही गांधी
जी शर्मीले और सरल थे,
लेकिन उनमें ईमानदारी और सच्चाई के
गुण बहुत मजबूत थे।
स्कूली शिक्षा खत्म करने के बाद गांधी जी इंग्लैंड गए कानून पढ़ने के लिए। वहां उन्होंने अपनी पढ़ाई पूरी की और बैरिस्टर बन गए। उसके बाद उन्हें साउथ अफ्रीका जाना पड़ा एक केस के लिए। वहीं से उनका असली संघर्ष शुरू हुआ। दक्षिण अफ्रीका में गांधी जी ने नस्लीय भेदभाव का सामना किया। एक बार उन्हें सिर्फ इंडियन होने की वजह से ट्रेन के फर्स्ट क्लास डिब्बे से बाहर फेंक दिया गया। ये घटना उनकी जिंदगी का टर्निंग प्वाइंट बना.
दक्षिण अफ्रीका में गांधी जी का संघर्ष
दक्षिण अफ्रीका में गांधी जी ने भारतीयों के अधिकारों की लड़ाई शुरू की। उन्हें वहां सत्याग्रह का सिद्धांत प्रयोग करना चाहिए-जिसमे हिंसा की जगह शांतिपूर्ण विरोध और सच्चाई का सहारा लिया जाता है। अपने संघर्ष के दौर में गांधी जी ने भारतीयों के लिए वहां का अधिकार सुरक्षित किया। ये अनुभव उन्हें भारत के स्वतंत्रता संग्राम के लिए तैयार कर दिया गया है।
भारत के स्वतंत्रता संग्राम में गांधी जी
1915 में
गांधी जी भारत वापस
आये और देश के
राजनीतिक आन्दोलनों में सक्रिय रूप
से भाग लेने लगे।
सुरु में किसानों और
मजदूरों की समस्याओं का
समाधान करने की कोशिश,
जैसा चंपारण सत्याग्रह और खेड़ा आंदोलन।
आंदोलनों में गांधी जी
को एक राष्ट्रीय नेता
बना दिया।
आज़ादी की लड़ाई में कैसे बड़े आंदोलन लीड किये:
1. असहयोग
आंदोलन (1920) - गांधी जी ने ब्रिटिश
वस्तुओं और सेवाओं का
बहिष्कार करने का आह्वान
किया। देश भर के
लोगों ने ब्रिटिश स्कूलों,
कॉलेजों, अदालतों और शिक्षकों का
बहिष्कार किया।
2. सविनय
अवज्ञा आंदोलन (1930) - क्या आंदोलन में
गांधी जी ने "नमक
मार्च" किया था, जो
दांडी मार्च के नाम से
प्रसिद्ध है। गांधी जी
ने नमक बनाकर ब्रिटिश
कानून का विरोध किया।
इस मार्च में हज़ारों लोग
उनके साथ चले।
3. भारत
छोड़ो आंदोलन (1942) - ये सबसे शक्तिशाली
आंदोलन था जिसमें गांधी
जी ने नारा दिया:
"करो या मरो।" अंग्रेजों
को भारत छोड़ने का
स्पष्ट संदेश दिया गया।
आंदोलनों की वजह से भारत में ब्रिटिश शासन काफी कमजोर हो गया और अंततः 15 अगस्त 1947 को भारत आजाद हो गया।
महात्मा गांधी के सिद्धांत
गांधी
जी के जीवन का
मुख्य फोकस सत्य (सत्य)
और अहिंसा (अहिंसा) था। उनका मानना
था कि हिंसा का
कभी स्थायी समाधान नहीं मिलेगा। अपने
जीवन की सादगी में
बिताएं - सादे कपड़े पहनें,
खुद खादी के कपड़े
बनाएं और प्राकृतिक भोजन
खाएं।
गांधी जी ने "स्वराज" यानी स्व-शासन की अवधारणा दी, जिसमें सिर्फ राजनीतिक स्वतंत्रता ही नहीं बल्कि आत्म-अनुशासन और आत्म-निर्भरता भी शामिल थी।
गांधी जी की मृत्यु
30 जनवरी 1948 को, गांधी जी को नाथूराम गोडसे ने गोली मार कर शहीद कर दिया। उनकी मौत पूरे देश के लिए एक बड़ा झटका था। जवाहरलाल नेहरू ने कहा था, "हमारे जीवन से रोशनी चली गई है।"
महात्मा गांधी की विरासत
आज भी गांधी जी के विचार और शिक्षाएं लोगों को प्रेरित करते हैं। उनके दर्शन से दुनिया के नेता जैसे मार्टिन लूथर किंग जूनियर और नेल्सन मंडेला भी प्रेरित करते हैं। गांधी जी के जन्मदिन, 2 अक्टूबर, को भारत में "गांधी जयंती" और दुनिया में "अंतर्राष्ट्रीय अहिंसा दिवस" के रूप में मनाया जाता है।
निष्कर्ष
महात्मा गांधी एक साधारण इंसान थे जिन्हें अपनी पवित्रता, साहस और सच्चाई के साथ सिर्फ पूरे देश को एक करना था। उन्हें दिखाया गया कि बिना हथियार उठाए भी एक साम्राज्य को हराया जा सकता है। गांधी जी के सिद्धांत हमेशा हमें मार्गदर्शक बताते रहेंगे। वो सच में "राष्ट्रपिता" कहलाने लायक हैं। उनकी जिंदगी हमें सिखाती है कि ईमानदारी, धैर्य और शांति दुनिया को बदल सकती है।
FAQs: महात्मा गांधी पर निबंध
Q1: राष्ट्रपिता
महात्मा गांधी को क्यों कहा
जाता है?
उत्तर:
क्योंकि उन्हें सत्य और अहिंसा
के बारे में बताया
गया, भारत को आजादी
दिलाई और देश को
एकता में जोड़ा।
Q2: महात्मा
गांधी का जन्म कब
और कहां हुआ था?
उत्तर:
उनका जन्म 2 अक्टूबर 1869 को पोरबंदर, गुजरात
में हुआ था।
Q3: गांधी
जी के स्वतंत्रता संग्राम
के मुख्य आंदोलन कौन से थे?
उत्तर:
असहयोग आंदोलन, सविनय अवज्ञा आंदोलन, दांडी मार्च और भारत छोड़ो
आंदोलन।
Q4: गांधी
जी का मुख्य सिद्धांत
क्या था?
उत्तर:
गांधी जी का मुख्य
सिद्धांत सत्य (सत्य) और अहिंसा (अहिंसा)
था।
Q5: महात्मा
गांधी की मृत्यु कैसे
हुई?
जवाब:
30 जनवरी 1948 को नाथूराम गोडसे
ने उनकी गोली मार
कर हत्या कर दी।

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